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मशहूर टीवी एंकर चित्रा त्रिपाठी (आज तक ) का चैनल के दायरों में दम घुटता है ?पत्रकार मनोज बत्तरा से हुई बातचीत !-बर्बाद इंडिया / मनोज बत्रा (एडिटर)

भारत में पत्रकारिता -जगत की दयनीय हालत!

मशहूर टीवी एंकर चित्रा त्रिपाठी (आज तक ) का चैनल के दायरों में दम घुटता है ?पत्रकार मनोज बत्तरा से हुई बातचीत !

25 जुलाई ,2020 .
नई दिल्ली। (ईश्वर आज़ाद और चीफ एडिटर मनोज बत्रा द्वारा ).

     पिछले दिनों भारत की मशहूर टीवी एंकर चित्रा त्रिपाठी (आज तक )और "बर्बाद इंडिया "के चीफ एडिटर ,पत्रकार ,साहित्यकार और फिल्म -निर्देशक मनोज बत्तरा की बातचीत हुई !बातचीत में एंकर के अंदर का दर्द और भारत में पत्रकारिता -जगत की दयनीय हालत साफ़ झलक रही थी !




     बातचीत के प्रमुख अंश प्रस्तुत है :-

     चित्रा त्रिपाठी -"पॉजिटिव और सच्ची ख़बरों के लिए मैंने 'सच्ची खबर'नाम से एक वेबसाइट शुरू की है !मुझे आशा है कि इसे आप ज्यादा से ज्यादा लोगों तक पहुंचायेंगे !"
     मनोज बत्तरा -"चित्रा ,मन में जिज्ञासा है कि इस ब्लॉग /वेबसाइट की आपको जरूरत क्यों पड़ी ?इसका कोई विशेष महत्त्व /उपयोगिता भी है ?इतना समय कैसे निकाल लेती है आप ,इन सब के लिए ?आखिर लक्ष्य क्या है आपका ?"
     चित्रा त्रिपाठी -"चैनल या कम्पनी में, एक दायरें में काम करना पड़ता है!अपने स्वतंत्र विचारों के लिए ही एक वेबसाइट शुरू की है !"
     मनोज बत्तरा -"क्या सचमुच ,आपके कहने का अर्थ है कि मीडिया के दायरों में आपका दम घुटता है ?.....असंगठित मीडिया के दायरों में आपका दम घुटना ,मेरी नज़र में ,भारतीय लोकतंत्र की एक असाधारण घटना है!मेरी सोच से भी ,बहुत ज्यादा बुरा हाल है ,लोकतंत्र के चौथे स्तम्भ 'मीडिया 'का!क्या बनेगा मेरे बर्बाद इंडिया का ?"
      इस बातचीत को विराम देते हुए बत्रा ने ,चित्रा को उनके बारें में कहा -"स्वतंत्र विचारों की अभिव्यक्ति ,आपमें परोपकार ,दया ,उदारता ,विश्व -कल्याण ,समानता ,प्रेम ,श्रद्धा ,भक्ति आदि उच्च मानवीय गुणों को दर्शाती है !अद्भुत आपका व्यक्तित्व बाहर से दिखता था ,पर अंदर से भी है!.... आपके भीतर की मातृशक्ति और मानवता के आगे नतमस्तक होना चाहूँगा !नमन और हार्दिक अभिवादन ! 


चीफ एडिटर आचार्य मनोज बत्तरा